ग्रीन इको मूवमेंट एवम प्रभा पद्म संस्थान द्वारा विश्वनाथ मंदिर के मुख्य कार्यपालक का सम्मान
पर्यावरण एवं संगीत के अंतर्संबंध की महत्ता विषयक संगोष्ठी का आयोजन
वाराणसी। 6 अक्टूबर 2024 को इंदिरा गांधी राष्ट्रीय कला केंद्र के सभागार में ग्रीन इको मूवमेंट सोसायटी तथा इंदिरा गांधी राष्ट्रीय कला केंद्र क्षेत्रीय, केंद्र वाराणसी एवं भाव प्रभा पद्म संस्थान के संयुक्त तत्वावधान. मे *पर्यावरण एवं संगीत के अंतर्संबंध की महत्ता विषयक संगोष्ठी तथा *सांस्कृतिक संध्या हरीतिमा* का आयोजन सम्पन्न हुआ । इस अवसर पर कार्यक्रम के मुख्य अतिथि श्री काशी विश्वनाथ मन्दिर के मुख्य कार्यपालक, अधिकारी श्री विश्वभूषण मिश्र को तीनों संस्थानों की ओर से सम्मान फलक के माध्यम से *सनातन संस्कृति निष्ठा सम्मान* से विभूषित किया गया।
उपरोक्त सम्मान *पद्मश्री डॉ राजेश्वर आचार्य* तथा *डॉ अभिजीत दीक्षित* तथा *डॉ रमेश कुमार भाटिया* ने संयुक्त रूप से प्रदान किया। कार्यक्रम मे *मुख्य वक्ता* रहीं प्रो जे .सी.बोस नैशनल फेलो *प्रो मधुलिका अग्रवाल* तथा अतिथियों का स्वागत किया इंदिरा गांधी राष्ट्रीय कला केंद्र के निदेशक डॉ अभिजीत दीक्षित ने । तथा *धन्यवाद ज्ञापित किया डॉ रमेश भाटिया ने ।* इस अवसर पर आशीर्वचन प्रदान किया पद्मश्री डॉ राजेश्वर आचार्य ने। कार्यक्रम की अध्यक्षता की प्रो सुशीला सिंह ने। *मुख्य अतिथि श्री विश्वभूषण मिश्रा* ने वनस्पति को पर्यावरण का आधार बताते हुए इसे भारतीय संस्कृति मे पूजनीय बताया ।
मुख्य वक्ता प्रो मधुलिका अग्रवाल ने कहा की वनस्पतियों संवेदनात्मक रूप से मधुर संगीत को सुनकर सकारत्मक वृद्धि करतीं है य़ह वैज्ञानिक रूप से प्रमाणित है। अवसर पर आयोजित सांस्कृतिक संध्या *हरीतिमा* मे *प्रो कृष्णकांत शुक्ला* ने गुरु गोरखनाथ जी द्वारा रचित भजनों की भावपूर्ण प्रस्तुति की । समापन किया एक और भजन से बोल थे । *उड़ जाएगा हँस अकेला* इसके उपरांत दूसरी प्रस्तुति *डॉ शिवानी शुक्ला* द्वारा प्रस्तुत पर्यावरण पर अधारित कजरी की रही बोल थे *हमार मैया सबको कजरी सिखावे* ।तबला संगति रही श्री अंकित सिंह की तथा संवादिनी पर साथ दिया श्री प्रवीन सिंह ने। इस अवसर पर केंद्र के परिसर मे वृक्षारोपण किया गया। एवं सभी अतिथियों को पौधा प्रदान किया गया। संचालन किया गया डॉ प्रीतेश आचार्य ने। *संयोजन रहा श्री पीयूष आचार्य का।